परसा-केंते क्षेत्र में जंगलों की कटाई के विरोध में हुए घायलों से मुलाकात करने पहुंचेंगे प्रदेशाध्यक्ष

परसा-केंते क्षेत्र में जंगलों की कटाई के विरोध में हुए घायलों से मुलाकात करने पहुंचेंगे प्रदेशाध्यक्ष

अंबिकापुर. उदयपुर के परसा-केंते क्षेत्र में जंगलों की कटाई के विरोध में हुई ग्रामीणों और पुलिस के बीच हिंसक झड़प की जानकारी के बाद आज जिला पंचायत उपाध्यक्ष आदित्येश्वर शरण सिंहदेव ने आज ग्राम साल्हि जाकर प्रभावितों से मुलाकात कर उन्हें समर्थन का आश्वासन दिया है। पूर्व उपमुख्यमंत्री टी एस सिंहदेव के महाराष्ट्र चुनाव में पार्टी द्वारा दी गई जिम्मेदारी के कारण प्रदेश से बाहर होने के कारण उनके निर्देश पर जिला पंचायत उपाध्यक्ष ने आज इस क्षेत्र का दौरा किया। ग्रामीणों ने उन्हें यह जानकारी दी कि गुरुवार की सुबह बिना किसी पूर्व सूचना के भारी पुलिस बल के साथ साल्हि, फतेहपुर और हरिहर में वनभूमि के साथ ही राजस्व भूमि पर पेड़ों की कटाई प्रारंभ कर दी गई। ऐसी भूमि पर भी कटाई की जानकारी ग्रामीणों ने दी जिनपर मुआवजा ही नहीं लिया गया था। प्रशासन के द्वारा बलपूर्वक कटाई के कारण वृक्षों के खेतों में गिरने से फसलों को भी भारी नुकसान की जानकारी ग्रामीणों ने दी। ग्रामीणों का कहना था कि जब वे शान्ति पूर्वक इसका प्रतिवाद कर रहे थे तब पुलिस ने उन्हें बलपूर्वक खदेड़ना प्रारंभ किया। इस दौरान ग्रामीणों पर लाठीचार्ज किया गया और टियर गैस फेंका गया। महिलाओं की पुरूष पुलिसकर्मियों ने पिटाई की। जिला पंचायत उपाध्यक्ष जिस जगह पर ग्रामीणों के दल से मिले वहाँ मौजूद कई ग्रामीण जिनमे महिलाएं भी थी वो घायल अवस्था में मिली। उन्हें इलाज उपलब्ध नहीं था। इसपर जिला पंचायत उपाध्यक्ष ने कलेक्टर से चर्चा कर गांव में स्वास्थ्य कैम्प लगाने का अनुरोध किया जिसपर कलेक्टर द्वारा शनिवार 11 बजे से गांव में कैम्प लगाने का आश्वासन दिया है। जिला पंचायत उपाध्यक्ष ने बिना मुआवजा वाले राजस्व भूमि के अधिग्रहण और वनाधिकार पट्टा से संबंधित प्रभावित को लेकर भी कलेक्टर से चर्चा की, जिसमें कलेक्टर ने जांच का आश्वासन दिया है। ऐसे ग्रामीण जिनकी फसल पेड़ कटाई में प्रभावित हुई है उन्हें भी मुआवजे को लेकर उन्होंने कलेक्टर से चर्चा किया हैं। मुलाकात के दौरान जिला पंचायत उपाध्यक्ष ने ग्रामीणों की चर्चा मोबाईल के माध्यम से पूर्व उपमुख्यमंत्री से भी कराई। जिसमें पूर्व उपमुख्यमंत्री ने ग्रामीणों को पूर्ण सहयोग और समर्थन देने का आश्वासन दिया। दौरे के दौरान जिला पंचायत उपाध्यक्ष से अडानी के वे कर्मचारी भी मिले जिन्हें जमीन के बदले नौकरी मिली थी। उनकी चिंता थी कि पेड़ों की कटाई रुकने से खदान का विस्तार प्रभावित होगा और खदान बंद हो जाएगा, जिससे उनकी आजीविका भी प्रभावित होगी। सभी ग्रामीणों को सुनने के बाद उन्होंने यह को कहा कि प्रशासन को बलपूर्वक करवाई करने से बचना चाहिए। बिना ग्रामीणों की सहमति के बलपूर्वक करवाई स्वीकार नहीं है। भविष्य में ऐसा न हो इस बात की हिदायत उन्होंने मीडिया के मध्यम से दी है।

धरने पर बैठने की चेतावनी के बाद प्रशासन ने मिलने की अनुमति दी

कटाई का विरोध कर रहे ग्रामीण ग्राम साल्हि के जिस क्षेत्र में थे वो पूरा इलाका पुलिस बल के घेरे में था। प्रशासन इस क्षेत्र में जिला पंचायत उपाध्यक्ष के साथ ही कॉंग्रेस के कार्यकर्ताओं को जाने से रोक रहा था। फिर जिला पंचायत उपाध्यक्ष के द्वारा धरने पर बैठाने की चेतावनी देने के बाद प्रशासन ने कुछ 7 लोगों को ग्रामीणों तक जाने की इजाजत दी। इसके बाद जिला पंचायत उपाध्यक्ष आदित्येश्वर शरण सिंहदेव, श्रम कल्याण बोर्ड के पूर्व अध्यक्ष मो शफ़ी अहमद, प्रदेश महामंत्री द्वितेन्द्र मिश्रा, राजनाथ सिंह, ओमप्रकाश सिंह, नीरज मिश्रा करीब 3 कि मी पैदल चलकर ग्रामीणों से मिले।

शनिवार को कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष करेंगे दौरा

शनिवार को कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष दीपक बैज प्रभावित क्षेत्र का दौरा कर ग्रामीणों से मुलाकात करेंगे। वे 1 बजे दोपहर में ग्राम साल्हि पहुचेंगे ओर प्रभावित ग्रामीणों से मुलाकात कर पूरे घटनाक्रम की जानकारी लेंगे।